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हरकी पैड़ी पर उतरा आस्था का सैलाब, उमड़ी भारी मात्रा मे भीड़

हरकी पैड़ी पर उतरा आस्था का सैलाब, उमड़ी भारी मात्रा मे भीड़

 

आठ अप्रैल को सोमवती अमावस्या के चलते धर्मनगरी हरिद्वार में शनिवार से ही देश के कई राज्यों की भीड़ उमड़ पड़ी। वहीं, आज रविवार को भी सुबह से ही भीड़ में और बेतहाशा वृद्धि हो गई हैं, हालत ये हैं कि हरकी पैड़ी के ब्रह्म कुंड से लेकर गंगा के विभिन्न घाटों पर भारी भीड़ ने आस्था की डुबकी लगाई। वहीं, बड़ी संख्या में पर्यटकों के पहुंचने से यहां वाहनों का भी भारी दबाव हो गया है। हाईवे पर सुबह से ही जाम की स्थिति बनी हुई है।

हरकी पैड़ी पर उतरा आस्था का सैलाब, उमड़ी भारी मात्रा मे भीड़
हरकी पैड़ी पर उतरा आस्था का सैलाब, उमड़ी भारी मात्रा मे भीड़

सोमवती स्नान को लेकर जानिए वाहनों का रूट प्लान

एसपी यातायात पंकज गैरोला ने बताया, सोमवती स्नान को लेकर रूट प्लान जारी कर दिया गया है। कई राज्यों से आने वाले वाहनों के लिए रूट और पार्किंग स्थल तय कर दिए गए हैं। दिल्ली, मेरठ, मुजफ्फरनगर से स्नान के लिए आने वाले वाहन नारसन, मंगलौर, कोर कॉलेज, ख्याति ढाबा, गुरुकुल कांगड़ी, शंकराचार्य चौक होते हुए हरिद्वार आएंगे और अलकनंदा, दीनदयाल, पंतद्वीप, चमकादड़ टापू में पार्क किए जाएंगे।अत्यधिक दबाव बढ़ने पर मंगलौर से नगला इमरती अंडरपास, लंढौरा, लक्सर, सुल्तानपुर, फेरूपुर, एसएम तिराहा से श्रीयंत्र पुलिया पार्किंग बैरागी कैंप में भेजा जाएगा। पंजाब, हरियाणा से आने वाहन सहारनपुर, मंडावर, भगवानपुर, सालियर, बिजौली चौक, एनएच 344 होते हुए नगला इमरती, कोर काॅलेज, बहादराबाद बाईपास, हरिलोक तिराहा, गुरुकुल कांगड़ी से हरिद्वार आएंगे और अलकनंदा, दीनदयाल, पंतद्वीप, चमगादड़ टापू में पार्क किए जाएंगे।अत्यधिक दबाव बढ़ने पर मंगलौर से नगला इमरती अंडरपास, लंढौरा, लक्सर, सुल्तानपुर, फेरूपुर, एसएम तिराहा से श्रीयंत्र पुलिया पार्किंग बैरागी कैंप में भेजा जाएगा। पंजाब, हरियाणा से आने वाहन सहारनपुर, मंडावर, भगवानपुर, सालियर, बिजौली चौक, एनएच 344 होते हुए नगला इमरती, कोर काॅलेज, बहादराबाद बाईपास, हरिलोक तिराहा, गुरुकुल कांगड़ी से हरिद्वार आएंगे और अलकनंदा, दीनदयाल, पंतद्वीप, चमगादड़ टापू में पार्क किए जाएंगे।

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बता दें कि इस बार सोमवती अमावस्या का स्नान बहुत ही दुलर्भ संयोग के साथ पड़ा है। इंद्र योग में इस दिन स्नान, दान करने से पितृ तो प्रसन्न होते ही हैं उनका आशीर्वाद बना रहता है। अमावस्या तिथि आठ अप्रैल की सुबह तीन बजकर 31 मिनट पर शुरू होगी और इस तिथि का समापन इसी दिन मध्य रात्रि 11 बजकर 50 मिनट पर होगा।